लेखक- अमित सिंघल
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बताया कि महाकुम्भ के कारण उत्तर प्रदेश राज्य जीडीपी में 3 लाख करोड़ (लगभग 35 बिलियन डॉलर) रूपये की वृद्धि होने की आशा है, जबकि इस समय यूपी की जीडीपी 26 – 27 लाख करोड़ रूपये है। अर्थात महाकुम्भ का यूपी की जीडीपी में योगदान लगभग 11 से 12 प्रतिशत बैठेगा।
अगर भारत के सन्दर्भ में देखे तो राष्ट्र की जीडीपी में महाकुम्भ का योगदान लगभग 1% निकलेगा।
अमेरिका की कलाकार एवं सिंगर, टेलर स्विफ्ट (Taylor Swift), के लिए कहा जाता है कि जिस शहर में वह परफॉर्म करती हैं उस शहर में कुछ समय के लिए मंहगाई लगभग 10 प्रतिशत बढ़ जाती है क्योकि होटल एवं रेस्टोरेंट फुल एवं मंहगे हो जाते है, पर्यटन एवं शॉपिंग बढ़ जाती है। इस मंहगाई को Swiftflation (Swift + Inflation) का नाम दिया गया। ब्रिटेन में स्विफ्ट के 8 कंसर्ट या परफॉरमेंस ने अनुमानतः 1 बिलियन डॉलर का अतिरिक्त योगदान दिया।
अगर महाकुम्भ के कारण उत्पन्न आर्थिक कार्यकलाप को देखे तो ट्रांसपोर्ट, होटल, रेहड़ी-ठेला, रेस्टोरेंट, शॉपिंग इत्यादि के क्षेत्र में अभूतपूर्व वृद्धि देखा गया है। पानी की बोतल 20 की जगह 30 रुपये की मिल रही है। बाइक वाले एक ट्रिप में 500 रुपये एवं नौका वाले 5000 से 10000 रुपये कमा रहे है। महाकुम्भ के श्रद्धालु फिर काशी एवं अयोध्या जी भी जा रहे है।
बहुत से लेन-देन कैश हो रहे है। उदाहरण के लिए, माथे पर तिलक, दान-दक्षिणा, दातुन, रुद्राक्ष, फूल-माला, पूजा सामग्री, बाइक, नौका इत्यादि का अधिकतर “भुगतान” कैश में हो रहा है।
जब फाइनल आंकड़े निकाले जाएंगे, तो संभव है कि भारत की जीडीपी में इस महाकुम्भ का आर्थिक योगदान कहीं अधिक निकलेगा। कारण यह है कि जब कोई श्रद्धालु सुदूर प्रान्त से महाकुम्भ के लिए निकलता है, तो वह उसी समय से व्यय करना शुरू कर देता है।
कुल मिलाकर, महाकुम्भ के कारण प्रयागराज, काशी एवं अयोध्या में मंहगाई भारत की तुलना में 10 प्रतिशत अधिक होने का अनुमान है।
इसे मैं महाकुंभस्फीति या महाकुंभिनफ़्लेशन कहूंगा।

लेखक रिटायर्ड IRS अफसर हैं