★मुकेश सेठ★
★मुम्बई★
{पिछले दिनों सिंध हाईकोर्ट ने अमेरिकी पत्रकार डेनियल पर्ल के हत्यारे चार आतंकियों के रिहाई के आदेश के बाद अमेरिका के भड़क उठने पर टली थी रिहाई}
[आज सुप्रीम कोर्ट के मुशीर आलम की अध्यक्षता वाली तीन जजों की पीठ ने उमर शेख को मुक्त करने का दिया आदेश,एक न्यायाधीश ने फ़ैसले का किया विरोध]
(अमेरिकी पत्रकार डेनियल पर्ल वर्ष 2002 में आतंकी संगठन पर खोजी रिपोर्ट के लिए गए थे पाकिस्तान, आतंकियों ने उनका अपहरण कर काटा था गला)
♂÷पाकिस्तान की उच्चतम न्यायालय ने आज यानी गुरुवार को अमेरिकी पत्रकार डेनियल पर्ल की हत्या के मुख्य आरोपी आतंकी अहमद उमर सईद शेख को रिहा करने का आदेश दिया है।आतंकी उमर शेख ने अपने बयान में कहा था कि पत्रकार डेनियल पर्ल की हत्या में उसकी कम भूमिका थी।
उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश मुशीर आलम की अध्यक्षता वाली तीन जजों की बेंच ने आरोपी को रिहा करने का निर्देश दिया लेकिन इसमें से एक न्यायाधीश ने फैसले का विरोध किया है।
बता दें कि उमर सईद शेख उन तीन आतंकियों में है जिसे 1999 में कंधार में भारतीय विमान में अगवा किये यात्रियो के बदले में जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के साथ भारत ने छोड़ा था।
इससे पहले पाकिस्तान के सिंध हाईकोर्ट ने अमेरिकी पत्रकार डेनियल पर्ल की 2002 में हुई हत्या के चार दोषियों को रिहा करने के आदेश दिए थे। पाकिस्तान की इस हरकत पर अमेरिका सहित दुनियां के कई देश भड़क उठे थे। उस समय अमेरिका ने कहा था कि यह बहुत गंभीर मामला है और इसे सहन नहीं किया जा सकता।

हाईकोर्ट में शेख समेत इन चारों आरोपियों ने अप्रैल 2020 में 18 साल की सजा के बाद हाईकोर्ट में अपील की थी। जिस पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने शेख आदिल, नसीम और साकिब को हत्याकांड में भूमिका से बरी कर दिया था जबकि उमर सईद शेख की मौत की सजा को बदलकर 7 साल कर दिया था। उस समय तक ये सभी 18 साल सजा काट चुके थे इसलिए इस 7 साल को इसी में गिना गया।
इसके साथ ही उस पर 20 लाख पाकिस्तानी रुपये का जुर्माना भी लगाया गया था। उस समय इनकी रिहाई के कोर्ट के फैसले की काफी आलोचना हुई थी ऐसी खबरें थीं कि अमेरिका के दबाव में स्थानीय सरकार ने उच्चतम न्यायालय में अपील की थी लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट ने भी उमर सईद को रिहा करने का आदेश दिया है।
गौरतलब है कि डेनियल पर्ल अमेरिकी पत्रकार थे। 2002 में वो आतंकी संगठनों पर एक खोजी ख़बर करने पाकिस्तान गए थे,इसी दौरान उन्हें अगवा किया गया था। बाद में आतंकियों ने उनका सिर कलम कर दिया था और इस नृशंस हत्याकांड का लाइव वीडियो सोशल मीडिया के जरिये सारी दुनियां में दिखाया था। इस मामले में चार आतंकियों को गिरफ्तार किया गया था।